देहरादून। शारदा स्वर संगम ने आवाज सुनो पहाड़ों की के बैनर तले श्रद्धा सम्मान 2024 और फिल्म नीति पर चर्चा-परिचर्चा कार्यक्रम आयोजित किया। कार्यक्रम में उत्तराखंड की लोक संस्कृति के प्रचार-प्रसार और संरक्षण व संवर्धन में अपना जीवन लगाने वाले दिवंगत कलाकारों को श्रद्धांजलि देते हुए शांति पाठ किया गया।
सर्वे चौक स्थित आईआरडीटी ऑडिटोरियम में आयोजित कार्यक्रम में बड़ी संख्या में उत्तराखंड की लोक संस्कृति, लेखन, फिल्म व सिनेमा जगत से जुड़े लोगों ने शिरकत की। कार्यक्रम में लोकगायक नरेंद्र सिंह नेगी ने स्व. चंद्र सिंह राही के पुत्र वीरेंद्र नेगी, स्व. हीरा सिंह राणा की पत्नी विमला राणा, स्व. रतन सिंह जौनसारी की पत्नी सुमित्रा जौनसारी, स्व. जगत राम वर्मा के पुत्र राहुल वर्मा, पुत्री अंशु वर्मा और स्व. जीत सिंह नेगी के परिजनों को सम्मानित किया। शारदा स्वर संगम और आवाज सुनो पहाड़ों की के संयोजक नरेंद्र रौथाण ने बताया कि प्रदेश की संस्कृति के लिए जीवनभर कार्य करने वाले दिवंगत कलाकारों की याद में हर पितृपक्ष के पहले रविवार को यह कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा।
फिल्म नीति पर चर्चा करते हुए उत्तराखंड फिल्म विकास परिषद के नोडल अधिकारी व संयुक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी डा. नितिन उपाध्याय ने कहा कि उत्तराखंड में पिछले कुछ समय से फिल्मों की शूटिंग में काफी तेजी आई है। अब स्थानीय भाषा-बोली की फिल्में भी ज्यादा बन रही हैं। उन्होंने बताया कि गढ़वाली, कुमाऊंनी और जौनसारी भाषा की फिल्मों को 50 फीसदी या अधिकतम दो करोड़ रुपये तक का अनुदान देने का प्रावधान किया गया है।
इस अवसर पर फिल्म निर्माता वैभव गोयल, निर्माता- निर्देशक अनुज जोशी, फिल्म समीक्षक दीपक नौटियाल, पूर्व राज्यमंत्री घन्ना भाई, डा. नंद लाल भारती, बलबीर पंवार, अनसूया प्रसाद उनियाल, अशोक धस्माना, मंजू नौटियाल समेत अन्य मौजूद रहे।